Maharashtra Board SSC Class 10 Hindi Composite Sample Paper Set 2 with Answers Solutions Pdf Download.
Maharashtra Board Class 10 Hindi Composite Model Paper Set 2 with Answers
[Time: 2 Hours]
[Max. Marks: 50]
सूचनाएँ –
(1) सूचनाओं के अनुसार गद्य, पद्य, भाषा अध्ययन (व्याकरण) की कृतियों में आवश्यकता के अनुसार आकृतियों में ही उत्तर लिखना अपेक्षित है।
(2) सभी आकृतियों के लिए पेन का ही प्रयोग करें।
(3) रचना विभाग (उपयोजित लेखन) में पूछे गए प्रश्नों के उत्तर के लिए आकृतियों की आवश्यकता नहीं है।
(4) शुद्ध, स्पष्ट एवं सुवाच्य लेखन अपेक्षित है।
विभाग 1 – गद्य : 12 अंक
प्रश्न 1.
(अ) निम्नलिखित पठित गद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए-
अगर ट्रेन में रेलवे कर्मचारी का साथ हो जाए तो सारे रास्ते गाड़ियों के शंटिंग करने की आवाज सुनाई देगी। कोई कहेगा, “एट अप से आ रहा हूँ, सेवन डाऊन से लौटना है। अगर स्टेशन मास्टर ने सिग्नल नहीं दिया और गाड़ी आऊटर पर आकर खड़ी हो गई तो रात वापस घर लौटना मुश्किल है। आजकल तो ‘मेल को रोककर माल’ को पास करना पड़ता है। कारण मालगाड़ी में भरे माल के बिगड़ने का डर रहता है, जबकि मेल में बैठा आदमी बिगड़ता नहीं। अरे! नाराज भी तो नहीं होता। क्या खाकर नाराज होगा।
(1) आकृति पूर्ण कीजिए-
(3) भारतीय रेलवे की विशेषताएँ 25 से 30 शब्दों में लिखिए।
(आ) निम्नलिखित पठित गद्यांश पड़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए-
मुझे आज भी वह संध्या नहीं भूलती जब भारत के प्रथम राष्ट्रपति को मैंने सामान्य आसन पर बैठकर दिन भर के उपवास के उपरांत केवल कुछ उबले आलू खाकर पारायण करते देखा। मुझे भी वही खाते देखकर उनकी दृष्टि में संतोष और ओठों पर बालकों जैसी सरल हँसी छलक उठी।
जीवन मूल्यों की परख करने वाली दृष्टि के कारण उन्हें देशरत्न की उपाधि मिली और मन की सरल स्वच्छता ने उन्हें अजातशत्रु बना दिया। अनेक बार प्रश्न उठता है, “क्या वह साँचा टूट गया जिसमें ऐसे कठिन कोमल चरित्र ढलते थे?”
(1) कृति पूर्ण कीजिए-
(2) (i) समानार्थी शब्द परिवर्तन करके वाक्य फिर से लिखिए।
वह संध्या नहीं भूलती।
(ii) निम्नलिखित शब्दों के लिए गद्यांश में आए विलोम शब्द ढूँढ़कर लिखिए:
(1) मरण × …………..
(2) प्रात: × …………..
(3) प्रथम राष्ट्रपति की चरित्रगत विशेषताएँ क्या थीं? 25 से 30 शब्दों में लिखिए।
उत्तर:
(अ) (1)
(3) भारतीय रेल्लं दुनिया की सबसे बड़ी रेल सेवा में से एक है। यह भारत के लोगों को यातायात का सबसे कम खर्चीला साधन मुहैया कराती है। यह लाखों लोगों को रोजगार प्रदान करती है। यह देश की सांस्कृतिक सुरक्षा का मजबूत ध्वज है।
(आ) (1) (i)
(2) (i) वह शाम नहीं भूलती।
(ii) (1) जीवन (2) संध्या
(3) डॉ. राजेन्द्र प्रसाद हृदय से परोपकारी थे। उनका मन विशाल था, जो देश सेवा के लिए हमेशा तत्पर रहते थे। उनका रहन-सहन बेहद सामान्य था। वे अपने पद की गरिमा का ध्यान रखते थे तथा कभी भी उन्होंने इसका दुरुपयोग नहीं किया। वे एक महान नेता थे जो जीवन मूल्यों में गहरी आस्था रखते थे।
विभाग 2 – पद्य : 8 अंक
प्रश्न 2.
(अ) निम्नलिखित पठित पद्यांश पड़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियाँ कीजिए-
चारों ओर हुई हरियाली कहे मयूरा, सदियों का जो सपना है हो जाए पूरा।
एक यहाँ पर नहीं अकेला, होगी टोली, सोंधी सोंधी सी सुगंध, माटी से बोली।।
बाग-बगीचे, ताल-तलैया, सब मुस्काएँ, झूम-झूमकर मस्ती में तरु गीत सुनाएँ।
(1) उचित जोड़ियाँ मिलाइए (अपने पद के अनुसार)-
अ | उत्तर | आ |
अकेला | – | मुस्काएँ |
सोंधी-सोंधी | – | टोली |
बाग-बगीचे | – | गीत |
झूम-झूमकर | – | माटी |
(2) पहली दो पंक्तियों का सरल अर्थ 25 से 30 शब्दों में लिखिए।
(आ) निम्नलिखित पठित पद्यांश पढ़कर दी गई सूचनाओं के अनुसार कृतियां कीजिए-
देखकर जो विघ्न-बाधाओं को घबराते नहीं, रह भरोसे भाग्य के दुख भोग पछताते नहीं,
काम कितना ही कठिन हो किन्तु उकताते नहीं, भीड़ में चंचल बनें जो वीर दिखलाते नहीं,
मानते जी की हैं, सुनते हैं सदा सबकी कही, जो मदद करते हैं अपनी इस जगत में आप ही
(1) कृतियाँ पूर्ण कीजिए-
कर्मवीर की विशेषताएँ |
1. |
2. |
3. |
4. |
(2) अंतिम चार पंक्तियों का सरल अर्थ 25 से 30 शब्दों में लिखिए।
उत्तर:
(अ) (1)
अ | उत्तर | आ |
अकेला | टोली | मुस्काएँ |
सोंधी सोंधी | माटी | टोली |
बाग-बगीचे | मुस्काएँ | गीत |
झूम-झूमकर | गीत | माटी |
(2) प्रस्तुत गीत डॉ. कृपाशंकर शर्मा ‘अचूक’ द्वारा रचित ‘सौंधी सुगंध’ से लिया गया है। जो कि उनके ‘नदी उफान भरे से’ गीत संग्रह का भाग है। गीतकार के अनुसार मोर कह रहा है “बादल बरसने से चारों तरफ हरियाली छा गयी है। लम्बे समय से जो सपना मैं देख रहा था वह अब शायद पूरा हो जायेगा”। मीठी-मीठी सी सुंगध माटी से बोली “कोई भी अब इस धरती पर अकेला नहीं होगा, सब टोलियों में होंगे।”
(आ) (1) कर्मवीर की विशेषताएँ
कर्मवीर की विशेषताएँ |
1.विघ्न-बाधाओं से नहीं घबराते हैं। |
2.भाग्य के भरोसे नहीं रहते हैं। |
3.कठिन काम से पलायन नहीं करते हैं। |
4.मदद करने को हमेशा तैयार रहते हैं। |
(2) प्रस्तुत प्रेरक पंक्तियाँ कवि आयोध्यासिंह उपाध्याय ‘हरिऔध’ द्वारा रचित कविता’ कर्मवीर’ से ली गयी हैं। कवि के मतानुसार कर्मवीर वे होते हैं जो कठिन काम करने से उकताते नहीं व भीड़ में कभी विचलित नहीं होते। कर्मवीर वे हैं जो अपने मन की बात मानते हैं पर साथ में सबकी कही बात भी सुनते हैं। वे अपनी मदद स्वयं ही करने पर विश्वास रखते हैं।
विभाग 3 – भाषा अध्ययन (व्याकरण) : 8 अंक
प्रश्न 3.
सूचना के अनुसार कृतियाँ कीजिए-
(1) मानक वर्तनी के अनुसार कृतियाँ कीजिए:
(i) तक्रार, त्रकार, तकरार, तकरर।
(ii) सतजन, सज्जन, सजन, सजजन।
(2) निम्नलिखित में से किसी एक अव्यय का अर्थपूर्ण वाक्य में प्रयोग कीजिए-
(i) और (ii) नीचे
(3) कृति पूर्ण कीजिए-
संधि शब्द | संधि-विच्छेद | भेद |
नयन | – | – |
अथवा | ||
– | नर + ईश | – |
(4) निम्नलिखित मुहावरे का अर्थ लिखकर उचित वाक्य में प्रयोग कीजिए-
कचूमर निकाल देना
अथवा
अधोरेखांकित वाक्यांश के लिए उचित मुहावरे का चयन करके वाक्य फिर से लिखिए-
(चंपत होना, नौ दो ग्यारह होना)
श्याम का सामान छीनकर राम गायब हो गया।
(5) काल भेद पहचानना तथा काल परिवर्तन करना।
(i) निम्नलिखित वाक्य का काल भेद पहचानिए:
मैं अपने मित्र से मिल रहा हूँ।
(ii) निम्नलिखित वाक्यों में से किसी एक वाक्य का सूचना के अनुसार काल परिवर्तन कीजिए।
1. दिनेश को चलना होगा (उद्देश वर्तमानकाल)
2. दवाई नहीं खाने से बुखार आयेगा। (संकेतार्थ वाक्य)
(6) वाक्य भेद तथा वाक्य परिवर्तन:
(i) निम्नलिखित वाक्य का रचना के आधार पर भेद पहचानकर लिखिए:
राम घर गया है।
(ii) निम्नलिखित वाक्य का अर्थ के आधार पर दी गई सूचनानुसार परिवर्तन कीजिए:
बहुत होशियार है, विनय (विधानार्थक वाक्य)
उत्तर:
(1) (i) तकरार।
(ii) सज्जन।
(2) (i) विनय और सुमन एक ही शहर में रहते हैं।
(ii) टेबल के नीचे पुस्तक गिरी है।
(3)
संधि शब्द | संधि-विच्छेद | भेद |
नयन | ने + अन | अयादि संधि |
अथवा | ||
नरेश | नर + ईश | गुण संधि |
(4) बहुत पीटना – राम ने श्याम को पीट-पीटकर उसका कचूमर निकाल दिया।
अथवा
श्याम का सामान छीनकर राम चंपत हो गया।
(5) (i) अपूर्ण वर्तमानकाल
(ii) (1) दिनेश को चलना है।
(2) अगर दवाई नहीं खाओगे तो बुखार आयेगा।
(6) (i) सरल वाक्य
(ii) विनय बहुत होशियार है।
विभाग 4 – रचना विभाग (उपयोजित लेखन) : 12 अंक
सूचना आवश्यकतानुसार परिच्छेद में लेखन अपेक्षित है। सूचनाओं के अनुसार लिखिए।
प्रश्न 4.
सूचनाओं के अनुसार लिखिए।
(अ) (1) पत्र – लेखन
निम्नलिखित जानकारी के आधार पर पत्र – लेखन कीजिए:
अथवा
सुनिता/सुनील श्रॉफ 525, जवाहर चौक, गंगाखेड से श्री मुख्याध्यापक, सरस्वती कन्या विद्यालय परभणी की अपनी छोटी बहन को पाँचवी कक्षा में प्रवेश दिलाने के लिए प्रार्थना पत्र लिखता/लिखती है।
(2) कहानी लेखन
निम्नलिखित मुद्दों के आधार पर 60 से 70 शब्दों में लिखकर उसे उचित शीर्षक दीजिए तथा सीख लिखिए।
अथवा
गद्य – आकलन (प्रश्न निर्मिति):
निम्नलिखित पद्यांश पढ़कर ऐसे चार प्रश्न तैयार कीजिए जिनके उत्तर गद्यांश में एक-एक वाक्य में हों- मुम्बई में सरयु नाम का एक नाई रहता था। उसे धन की बहुत तंगी थी। उसने भगवान शंकर की आराधना की। भगवान महादेव उसकी तपस्या से बहुत प्रसन्न हुए, उन्होंने उससे पूछा — वत्स! तुम्हें क्या चाहिये? नाई ने कहा- “भगवान, मुझे अमीर बना दो।” भगवान बोले तथास्तु! तुम जिस चीज को छुओगे, वही स्वर्ण हो जाएगा। नाई ने सुबह-सुबह अपनी पत्नी को छू लिया, वह तुरंत स्वर्ण हो गयी।
(आ) निबन्ध लेखन:
किसी एक विषय पर लगभग 70 से 80 शब्दों में निबंध लिखिए-
(1) भ्रष्टाचार
(2) आतंकवाद।
उत्तर:
(अ) (1) दिनांक : 05 जुलाई, 20XX
सेवा में,
श्रीमान आयुक्त,
बी. एम. सी, चर्चगेट, मुम्बई-400020.
विषय – कचरा पेटी लगाने के सम्बन्ध में।
आपको बताते हुए हर्ष हो रहा है कि वार्ड एफ (साउथ), वडाला में बहुप्रतीक्षित ‘कचरा पेटी’ लग चुकी है। इसके लिए मैं यहाँ के निवासियों की तरफ से आपका हार्दिक अभिनंदन करता हूँ। अब इस वार्ड में कचरा पेटी लगने के उपरांत स्वच्छता का माहौल हो गया है। आशा है, आपका यह पुनीत कार्य अन्य वार्डों के लिए एक नयी चेतना प्रदान करेगा।
सधन्यवाद!
भवदीय,
हस्ताक्षर! रमण,
वार्ड एफ (साउथ), वडाला, मुम्बई।
अथवा
सुनिता/सुनील ऑफ,
525, जवाहर चौक, गंगरोड|
20 जून, 20XX
सेवा में,
श्री मुख्याध्यापक जी,
सरस्वती कन्या विद्यालय,
परभणी।
विषय : छोटी बहन को पाँचवी कक्षा में प्रवेश दिलाने के लिए प्रार्थना पत्र|
महोदय,
मेरी छोटी बहन कु. मनीषा श्रॉफ वर्तमान में सावित्री बाई फुले कन्या पाठशाला से चौथी कक्षा उर्त्तीण कर चुकी है, अब वह आपके विद्यालय में पाँचवी कक्षा में प्रवेश लेने की इच्छुक है। आपका विद्यालय परभणी में प्रसिद्ध होने के साथ-साथ कक्षा 12वीं (एचएससी) तक पढ़ने की व्यवस्था है। अतः उसे अपने यहाँ प्रवेश देने की कृपा करें। विद्यालय के नियमों का समय-समय परकु. मनीषा श्रॉफ पालन करेगी।
कृपया प्रवेश प्रपत्र स्वीकार करने की कृपा करें।
सधन्यवाद!
आपकी/आपका आज्ञाकारी,
हस्ताक्षर
सुनिता/सुनील श्रॉफ,
संलग्न भरा हुआ प्रवेश प्रपत्र।
(2) हृदय परिवर्तन
रामू एक लालची आदमी था। एक दिन लालच में आकर उसने श्याम को झूठी आस दिखाकर धोखा दे दिया। श्याम ने इसकी शिकायत पुलिस को कर दी, फलत: पुलिस रामू को पकड़कर हवालात ले गई। दोष साबित होने पर उसे जेल भेज दिया गया। अब रामू ने सुधरने की कसम खायी, वह अब एक संत की तरह परोपकारी हो गया।
अथवा
(1) सरयू नाम का नाई कहाँ रहता था?
(2) भगवान शंकर से उसने क्या माँगा?
(3) उसने किसकी आराधना की?
(4) उसकी पत्नी कैसी बन गई?
(आ) (1) भ्रष्टाचार – विश्व के कई देश भ्रष्टाचार से त्रस्त हैं, भारत भी उसमें से एक है। भारत जैसे गरीब देश में भ्रष्टाचार का पनपना और बढ़ना शर्मनाक है। सरकार प्रशासन व पुलिस भ्रष्टाचार के आरोपों में घिरे व्यक्ति को कानून के समक्ष सजा दिलाने में लगातार विफल हो रही है। जब तक एक पारदर्शी व्यवस्था कायम नहीं होगी, इस पर अंकुश लगाना कठिन होगा। सरकार को चाहिए कि इसके लिए सरकार व गैर-सरकारी कार्यों का पूर्ण रूप से कंप्यूटरीकरण कर दे। कुछ कार्य इस दिशा में हुआ है, परन्तु यह नाकाफी है।
(2) आतंकवाद – जब से दुनिया का निर्माण हुआ है तब से धर्म-अधर्म के बीच छत्तीस का आँकड़ा रहा है। आज आतंकवाद उसी एक अध् धर्म का हिस्सा है जिसने पूरी दुनिया को अपने चपेट में ले लिया है। यह किसी भी रूप में हो सकता है परन्तु इसका सबसे खतरनाक रूप धार्मिक आतंकवाद ही रहा है। यह दुनिया के कई देशों में धर्म के आधार पर आतंकवाद को अपनाता है।
सारी दुनिया इस तथ्य को जानती है, परन्तु अपने वर्चस्व को लेकर यह आतंकवाद को बढ़ावा देती है। कुछ देशों ने तो इसे स्वयं तैयार किया है और इसका दंश दूसरे देशों को देता रहता है।
दुनिया की शक्तिशाली संस्था भी इस पर रोक लगाने में नाकाम रही है। क्योंकि, उनकी नजर में आतंकवाद की अलग-अलग परिभाषा रही है। यही कारण रहा है कि यह दिनों-दिन अपना प्रभाव पूरी शक्ति के साथ फैला रहा है। अब समय आ गया है कि दुनिया के सभी देश इस विकराल समस्या पर मिल कर काम करें, नहीं तो वे इस समस्या से मुक्त नहीं हो पाएंगे। सरकार को भी इस दिशा में आवश्यक कदम उठाना चाहिये ताकि इन पर नकेल कसी जा सके।